बैठी थी तुम सुंदर फूलों के बागियां में पर कमबख्त मुझे सिर्फ तुम ही नज़र आ रही थी खुशबू फूलों की थी ज़रूर मुझे तो तुम्हारी महेक भा रही थी भवरें गुनगुना रहे थे फूलों पर मुझे तो तुम्हारी धड़कन ही सुनाई दे रही थी हवा तो ज़ोरों से चल रही थी मुझे तो तुम्हारी सांस से ही सांस आ रही थी ©Riddhi Shukla बैठी थी तुम सुंदर फूलों के बागियां में 😍✨ #poem #Poetry #poetry_addicts #Hindi #hindi_poetry #passionforpoetry #Flower