सोच समझ कर निकलना, सर्दी में भरतार। चूक जरा सी हो गई, कर देगी ये बार।। कर देगी ये बार,रोम-रोम झुर्राये। दर्दो से भर देय,खोपड़ा भी भन्नाये।। माँगे फिर ये आग,सेक ही लेना भैया। नहीं लगाओ सेक,तभी हो ता ता थैया।। भारत भूषण झा"भरत" #NojotoQuote