न तुम बडे, न मैं छोटा हूँ, जैसे-तैसे, काटलो,ये जो, मुसीबत भरी रात है। रति भर कोई मुद्दा नही, फिर समझने-समझाने वाली, आखिर कौनसी बात है, दो कदम, तुम बढ़ाओ, दो कदम मैं बढाऊँ, बस,ज्यादा नही एक जिंदगी का ही तो साथ है। #life #livelife #chetanyajagarwad #poetry #hindipoetry