समाज एक ऐसी इकाई है जो जीवन को संवारने में योगदान करती है इससे समाज के प्रति हमारी हरिण होना स्वभाविक है हालांकि समाज में हर कोई भाग्यशाली और संपन्न नहीं होता ना जाने कितने ही लोग विशेष अधिकारियों से वंचित रह जाते हैं पूरे जीवन अभाव में व्यतीत करने लगते हैं ऐसे में जो लोग सफल हो गए आगे बढ़ गए उन्हें अपनों से कमजोर पीड़ित अभावग्रस्त की मदद करनी चाहिए जैसा कि बिना कोई अपेक्षा रखे वंचित वर्ग को शिक्षित करना उन्हें किसी काल में परंपरागत करना एकाकी व्यू वृद्धि के साथ बैठाकर उपकार नहीं बल्कि समाज का ऋण चुकाना ही है ©Ek villain #standout #समाज को सुधारने का जिम्मा युवाओं के ऊपर है