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White मिट्टी से बनी हूं। मिट्टी में मिल जाऊंगी।।

White मिट्टी से बनी हूं। 
मिट्टी में मिल जाऊंगी।।
चाहती तो बहुत कुछ हूं। 
पर चाह कर भी नहीं कर पाऊंगी।।
मैं धूल हूं। 
हवा में बिखर जाऊंगी।।
एक दिन सबको छोड़ कर जाऊंगी। 
फिर लौट कर वापस ना लाऊंगी।।
तब देखना, मैं जैसी भी हूं। 
उसे दिन सबको याद आऊंगी।।
मैं हंसती हुई आई थी। 
रुलाकर चली जाऊंगी।।
मैं सच कह रही हूं। 
एक दिन दुनिया छोड़कर जाऊंगी।।😌

©Priyanka Poetry #sad_quotes Kavita
White मिट्टी से बनी हूं। 
मिट्टी में मिल जाऊंगी।।
चाहती तो बहुत कुछ हूं। 
पर चाह कर भी नहीं कर पाऊंगी।।
मैं धूल हूं। 
हवा में बिखर जाऊंगी।।
एक दिन सबको छोड़ कर जाऊंगी। 
फिर लौट कर वापस ना लाऊंगी।।
तब देखना, मैं जैसी भी हूं। 
उसे दिन सबको याद आऊंगी।।
मैं हंसती हुई आई थी। 
रुलाकर चली जाऊंगी।।
मैं सच कह रही हूं। 
एक दिन दुनिया छोड़कर जाऊंगी।।😌

©Priyanka Poetry #sad_quotes Kavita