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“वीरगाथागीतमंगल पांडे” मंगल पांडे की सोच, इतिहा

“वीरगाथागीतमंगल पांडे” 

मंगल पांडे की सोच,
 इतिहास रच चुकी थी;
जाहिर कारू में क्या
 चिंगारी आग बन चुकी थी;
                                        एकता की शक्ति
                                               विशाल बन चुकी थी।
                                              मंगल पांडे की सोच ,
                                               इतिहास रच चुकी थी;
झांसी की रानी शोला बन, 
फिरंगियों को राख कर चुकी थी;
तात्या टोपे की तलवार भी, 
फिरंगी ओ को ललकार चुकी थी।
                                          मंगल पांडे की वीरता जन-जन में,
                       प्राण भर चुकी थी।
                           मंगल पांडे की सोच,
                             इतिहास रच चुकी थी;
गली चौक चौबारे पनघट,
ग्राम नगर और महानगर तक
मंगल की धुन बज चुकी थी।
                                      मंगल पांडे की सोच, 
                                       इतिहास रच चुकी थी;
                                     बिखरे हुए पन्नों की, 
                                       किताब रच चुकी थी।

©U shivan rajauria वीरगाथा गीत मंगल पांडे🚩🚩🚩
सभी भाइयों को दिल से नमस्कार
मंगल पांडे जयंती पर प्रस्तुत है मेरी रचना
नोजोटो को बहुत-बहुत धन्यवाद
“वीरगाथागीतमंगल पांडे” 

मंगल पांडे की सोच,
 इतिहास रच चुकी थी;
जाहिर कारू में क्या
 चिंगारी आग बन चुकी थी;
                                        एकता की शक्ति
                                               विशाल बन चुकी थी।
                                              मंगल पांडे की सोच ,
                                               इतिहास रच चुकी थी;
झांसी की रानी शोला बन, 
फिरंगियों को राख कर चुकी थी;
तात्या टोपे की तलवार भी, 
फिरंगी ओ को ललकार चुकी थी।
                                          मंगल पांडे की वीरता जन-जन में,
                       प्राण भर चुकी थी।
                           मंगल पांडे की सोच,
                             इतिहास रच चुकी थी;
गली चौक चौबारे पनघट,
ग्राम नगर और महानगर तक
मंगल की धुन बज चुकी थी।
                                      मंगल पांडे की सोच, 
                                       इतिहास रच चुकी थी;
                                     बिखरे हुए पन्नों की, 
                                       किताब रच चुकी थी।

©U shivan rajauria वीरगाथा गीत मंगल पांडे🚩🚩🚩
सभी भाइयों को दिल से नमस्कार
मंगल पांडे जयंती पर प्रस्तुत है मेरी रचना
नोजोटो को बहुत-बहुत धन्यवाद