कुछ पल तो ठहर ए वक़्त, इतनी जल्दी क्या है??
कर रही गुफ्तगू हमारी नजर,इतनी जल्दी क्या है??
हाल-ए-दिल की वो मेरी, समझेंगी,इतनी नासमझी क्या है??
कुछ पल तो ठहर ए वक़्त, इतनी जल्दी क्या है??
साख पर फिर से खिलेंगे नए फूल,
वो मौसम तो आने दे,
आकर मिलेंगी वो मुझसे सबकुछ भूल,