मुसीबतों का आना-जाना कोई अजूबा नहीं था , हमको सलीके से चलने का कोई तजुर्बा नहीं था l राह पथरीली देख कर हम ठिठक कर ठहर गये , अगले मोड़ पर है मंजिल हमें अंदाजा नहीं था ll Ayush kumar