पानी जैसे मिट गया गिरकर शराब में दिल भी शायर हो गया उनके शबाब में अदब ने मांग की थी,तहज़ीब ने झुका दिया उन्हें गुमान हो गया,झुकना है हमारे मिज़ाज में कोशिश बहुत की थी,ना हो राज़-ए-मोहब्बत कभी बयां वो संग मेरे क्या चल दिए,फसाना बन गया बातों ही बात में लिखते रहे उनके लिए,जिन्होने कभी हमें पढा़ नहीं कभी ख़ामोश हम रहे,कभी कुछ उन्होनें कहा नहीं लब तो ख़ामोश रहेंगे,कहीं निगाहें ना कुछ कहें हार गए दिल वो अपना,हमें हराने की फ़िराक में जगह नहीं है इस दिल में अब दुश्मनों के लिए एक वो ही काफ़ी हैं,अब हमें मिलाने को ख़ाक में... © trehan abhishek #pani #shrab #manawoawaratha #hindipoetry #hindishayari #yqdiddi #yqbaba