मैं हंसना चाहती हूं तुझे हंसाना चाहती हूं। मैं तेरी आंखों से खुद को रुलाना चाहती हूं।। मै साथ तेरे बैठ सारे गम भूलाना चाहती हूं। मैं यादों में तेरी खुद को बसाना चाहती हूं।। मैं हर डर को तेरे ज़हन से मिटाना चाहती हूं। कितना प्यार है तुझसे तुझे बताना चाहती हूं।। ख्वाबों में तेरे आकर तुझे सताना चाहती हूं। मुश्किल में अपने प्यार को आज़माना चाहती हूं।। मै कलम हर दिन उठाकर कुछ लिखना चाहती हूं। पर हर दिन की कविता तुझे बनाना चाहती हूं। -shivangi🔥 #shivangikishayri🔥 #nojoto