हो अदाएँ तेरी नटखट या चेहरे पे भोलापन चाहे सदाएँ मुझको देतीं हों तेरा बाँकपन तू चंचल है समर्पित है और शांत भी सही मुझको तू लौटा दे वो तेरा बालपन मुखौटों मे भले ही छुपे रूप लाख हों उनमे से कुछ सही हो या सभी खाक हों पर दुनिया मे परमशुद्ध वो जो जलके राख हो वैसे ही परमशुद्ध है तेरा बालपन #प्रकाश #मुखौटा2 #प्रकाश #स्वरा