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दिवसेनैव तत् कुर्याद् येन रात्रौ सुखं वसेत् । यावज

दिवसेनैव तत् कुर्याद् येन रात्रौ सुखं वसेत् ।
यावज्जीवं च तत्कुर्याद् येन प्रेत्य सुखं वसेत् ॥


दिनभर ऐसा काम करो जिससे रात में चैन की नींद आ सके ।
वैसे ही जीवनभर ऐसा काम करो जिस‌ से मृत्यु पश्चात् सुख मिले अर्थात् सद्गति प्राप्त हो ।

©पं. अभिषेक शास्त्री
  खोजना क्या है 
खुशियाँ यही है

खोजना क्या है खुशियाँ यही है #विचार

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