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कभी थी बाबरी मस्जिद अभी है राम का मंदिर इबादत ही



कभी थी बाबरी मस्जिद अभी है राम का मंदिर
इबादत ही करेंगे लोग,  खुदा को  याद करना है
    
       #आबिद हुसैन  भाषाओं की खूबसूरती उसे आत्मसात करनेवाले निर्धारित करते हैं और फिर हमारे देश की विविधता का अभिन्न हिस्सा हैं यहाँ की अनगिनत भाषाएँ व आँचलिक बोलियां। हिन्दी प्रमुख भाषाओं में से एक है जो कहीं न कहीं हमें एक सूत्र में पिरोने का कार्य करती है चाहे वो संगीत का माध्यम हो या शायरी का और इसी कड़ी में हम आपके समक्ष प्रस्तुत कर रहे हैं #dnd_शामएनज़्म जहाँ आप अपनी अभिव्यक्ति को एक आयाम दे सकते हैं और आपके साथ हमें भी नवीन रचनाओं को एक जगह पढ़ने का सुलभ अवसर प्राप्त होगा। 

हमारी नई पहल में आज आपको उपर्युक्त


कभी थी बाबरी मस्जिद अभी है राम का मंदिर
इबादत ही करेंगे लोग,  खुदा को  याद करना है
    
       #आबिद हुसैन  भाषाओं की खूबसूरती उसे आत्मसात करनेवाले निर्धारित करते हैं और फिर हमारे देश की विविधता का अभिन्न हिस्सा हैं यहाँ की अनगिनत भाषाएँ व आँचलिक बोलियां। हिन्दी प्रमुख भाषाओं में से एक है जो कहीं न कहीं हमें एक सूत्र में पिरोने का कार्य करती है चाहे वो संगीत का माध्यम हो या शायरी का और इसी कड़ी में हम आपके समक्ष प्रस्तुत कर रहे हैं #dnd_शामएनज़्म जहाँ आप अपनी अभिव्यक्ति को एक आयाम दे सकते हैं और आपके साथ हमें भी नवीन रचनाओं को एक जगह पढ़ने का सुलभ अवसर प्राप्त होगा। 

हमारी नई पहल में आज आपको उपर्युक्त
kaderistore9761

Abid

New Creator

भाषाओं की खूबसूरती उसे आत्मसात करनेवाले निर्धारित करते हैं और फिर हमारे देश की विविधता का अभिन्न हिस्सा हैं यहाँ की अनगिनत भाषाएँ व आँचलिक बोलियां। हिन्दी प्रमुख भाषाओं में से एक है जो कहीं न कहीं हमें एक सूत्र में पिरोने का कार्य करती है चाहे वो संगीत का माध्यम हो या शायरी का और इसी कड़ी में हम आपके समक्ष प्रस्तुत कर रहे हैं #dnd_शामएनज़्म जहाँ आप अपनी अभिव्यक्ति को एक आयाम दे सकते हैं और आपके साथ हमें भी नवीन रचनाओं को एक जगह पढ़ने का सुलभ अवसर प्राप्त होगा। हमारी नई पहल में आज आपको उपर्युक्त #yqbaba #yqdidi #YourQuoteAndMine #इबादत #आबिद #yqsayyed #shayariwithdnd #dndइबादत