Nojoto: Largest Storytelling Platform

ही मगर हम आवाज दे सकते है विशुद्ध संवेदित स्वर जिस

ही मगर
हम आवाज दे सकते है
विशुद्ध संवेदित स्वर
जिसमे भाईचारा हो
जो संगठन के बिना सामूहिक हो
जो भले ही महामहिमों के द्वारा हो
मगर एक साथ अब कश्मीर का नारा हो।
 बैठे-बैठे 
कितनी बातें हो जाती हैं
कितने काम हो जाते हैं..
बैठे-बैठे जहानों की सैर हो जाती है
बैठे-बैठे

Collab करें YQ Didi के साथ।
ही मगर
हम आवाज दे सकते है
विशुद्ध संवेदित स्वर
जिसमे भाईचारा हो
जो संगठन के बिना सामूहिक हो
जो भले ही महामहिमों के द्वारा हो
मगर एक साथ अब कश्मीर का नारा हो।
 बैठे-बैठे 
कितनी बातें हो जाती हैं
कितने काम हो जाते हैं..
बैठे-बैठे जहानों की सैर हो जाती है
बैठे-बैठे

Collab करें YQ Didi के साथ।