अरे प्रिए.... ए जगत , ईश्वर द्वारा रचित सबसे उस खुबसूरत ग्रंथ को पढता है,जिसे उन्हे रचने में सात दिन लग गये थे.... हां....! जानते है पूरा पढ़ लेना संभव नही फिर भी पढ़ते है...! क्योंकि, जगत को हर बार नया मिला है... अरे प्रिए, सभी का समावेश है इसमें और कुछ बचता भी तो नही ©jagat Raghuvanshi #prilaga #Prince #Pr #standAlone सुुमन कवयित्री