ये शुभ थोडी अजीब है, थोडी हसीन थोडी नमकीन है, चेहरे पे हसी भी है आँखो मे नमी भी है, दिल खुदसे मिलके सुलज रहा है, दिमाग अपने खयालो मे उलज रहा है, कूछ इस तरह वक्त गुजर रहा है। https://blog.forumias.com/the-inspiring-story-strategy-of-rishi-indian-forest-service-rank-1/