हर लड़की अपनी ज़िंदगी में किसी एक परछाईं के साथ जीना सीख चुकी होती है, चाहे वो कोई अपना करीबी हो या कोई और भी, लेकिन वे भूल चुकी होतीं हैं कि उनकी ढाल वो ख़ुद ही है। बेहतर होगा कि किसी परछाईं का इंतज़ार ना कर वे अपनी ताकत भी खुद बन सके।
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