बेजुबानी मेरे अलफाजों की तू समझ रहा है क्या अश्क जो बहे तेरी याद में वो समझ रहा है क्या ख़ामोश रहे ये लब, पर करती है आंखे जो बयां वो बात समझ रहा है क्या? सीने में लगी आग तपती धूप सी हिज्र की वो हर रात तू समझ रहा है क्या ख़ाक में मिलाई जो तेरी याद वादा खिलाफी तेरी दफनाई जो हर बार वो तू समझ रहा है ना #mojzamiracle #deepalidp #jashnerekhta #hindi #thoughtsinword #shayari #poetry #mywords #originallybyme #thatfeeling #khyal #dilse