.................. ©Prashant Shakun "कातिब" ख़ुद से जुदा हूँ तुझसे जुदा नहीं सबका ख़ुदा हूँ तेरा ख़ुदा नहीं तू मेरी शक्ति है, मेरी अभिव्यक्ति है मेरा सार है, संसार है, मेरा प्यार है ब्रह्मांड हूँ मैं इस सृष्टि का और तू मेरा आधार है। कहती है ये दुनिया मुझको पालनहार और तू गौरा, मेरी पालनहार है।