Conservation प्रकृति संरक्षण पर बातचीत ही सबकुछ नहीं है. मेरे विचार में बातचीत लोगों का ध्यान आकर्षित करने तक ही सीमित होना चाहिए. यदि वाकई इस दिशा में कुछ करना है तो प्रकृति हमारी सहयोगी है वाली मान्यता को ही बदल लो कि ‘प्रकृति से हम और हमसे ही प्रकृति है‘. तभी सार्थक प्रयास संभव हो सकते हैं. ©Shiv Narayan Saxena प्रकृति संरक्षण. #ConservationDay