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खिल गई धूप छँट गई घटा, मिले तुमसे जब हम पहली दफ़ा.

 खिल गई धूप छँट गई घटा,
मिले तुमसे जब हम पहली दफ़ा..!

ख़ुशियाँ हो गई अपनी,
ग़म की ग़ज़ल हुई ख़फ़ा..!

भरपाई हो गई सारे नुक़सान की,
जीवन हो गया नफ़ा..!

उतर गया चढ़ा मैल मन से,
क़िरदार तेरे साये में हो गया सफ़ा..!

©SHIVA KANT
  #PehliDafa