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महाभारत के बाद मनुष्य ज्ञान और भावना शून्य हो गया

महाभारत के बाद मनुष्य
ज्ञान और भावना शून्य
हो गया है राधे।
उसने प्रयासों से जीवन को
नया मार्ग दिया है।
टूटे छूटे आधे अधूरे श्लोक
और आवश्यकता के अधीन हो
अविष्कार किये हैं।
प्रेम को भी यांत्रिकी का विषय 
बनाने में लगा है।
मन को ढूंढ नहीं पाया
बातें आत्मा की करता है
और हृदय की ख़ोज में है।— % & महाभारत के बाद मनुष्य
ज्ञान और भावना शून्य
हो गया है राधे।
उसने प्रयासों से जीवन को
नया मार्ग दिया है।
टूटे छूटे आधे अधूरे श्लोक
और आवश्यकता के अधीन हो
अविष्कार किये हैं।
महाभारत के बाद मनुष्य
ज्ञान और भावना शून्य
हो गया है राधे।
उसने प्रयासों से जीवन को
नया मार्ग दिया है।
टूटे छूटे आधे अधूरे श्लोक
और आवश्यकता के अधीन हो
अविष्कार किये हैं।
प्रेम को भी यांत्रिकी का विषय 
बनाने में लगा है।
मन को ढूंढ नहीं पाया
बातें आत्मा की करता है
और हृदय की ख़ोज में है।— % & महाभारत के बाद मनुष्य
ज्ञान और भावना शून्य
हो गया है राधे।
उसने प्रयासों से जीवन को
नया मार्ग दिया है।
टूटे छूटे आधे अधूरे श्लोक
और आवश्यकता के अधीन हो
अविष्कार किये हैं।

महाभारत के बाद मनुष्य ज्ञान और भावना शून्य हो गया है राधे। उसने प्रयासों से जीवन को नया मार्ग दिया है। टूटे छूटे आधे अधूरे श्लोक और आवश्यकता के अधीन हो अविष्कार किये हैं। #yqdidi #yqhindi #Pinterest #श्रीकृष्ण #राधे_कृष्णा #पाठकपुराण