ऐ इंसा तू खफा क्यूं है ?? तुझे फल दूं, तुझे शीतल दूं .... तेरे शहर को शुद्ध हवा दूं ...... तुझे जीने के लिए आक्सीजन दूं. ;!! फिर तू मुझे काटता क्यूं है ?? ऐ इंसा तू खफा क्यूं है ?? तुझे छांव दूं, तुझे महक दूं .... तेरे शहर की खूबसूरती को निखार दूं ; मुसाफिरों को बैठने के लिए स्थान दूं ।। फिर तू मुझे काटता क्यूं है. ?? ऐ इंसा तू खफा क्यूं है. ?? save trees save life (story of a tree)#story