कोख से चलकर मां में गोद में आई हूं , तेरे चेहरे पर एक चिंतन रेखा लाई हूं , अफसोस मां मुझे कहना पड़ता है , क्योंकि मैं बेटी बनकर जहां में आई हूं। तुझे इतना गम क्यों है मां मेरी पैदाइश पर, अपना हक तो मैं साथ में लाई हूं , आंखें खुली थी मेरी तो मैंने त्याग ही देखा है , क्या मैं त्याग के लिए दुनिया में आई हूं , ना घर है मेरा यह ना घर है मेरा वह, यह कहती है तू पर आए घर जाना है , वहां तुम्हें वहीं पर आई हूं। इतनी गर्दिशें है मां फिर भी रोशन, करने को तेरा नाम ऊंचा दुनिया में आई हूं। #NojotoQuote #woman #girl