मेनका, तुम्हारा दूर देश से आना फिर ना जाना नजदीकियां बढ़ाना एक तपस्या है जिसे भंग करने वाला नहीं जिसमें अनैतिकता का स्थान नहीं जिसका प्रतिफल से अधिक प्रसाद है जिसमें वरदान की आकांक्षा नहीं क्या ये तुम्हारा नया तपस्या रूपी जीवन है किस कर्म से प्राप्त हुआ यह रूप जिसको सँवारने के मंत्रों में लीन रहती हो आसन छोड़ो पद ग्रहण करो प्रिय! दिल की रानी💟🌻💟 मेरी पत्नी प्रियंका से विवाह पूर्व फोन पर घण्टों संवाद करते हुए जब भाभी ने देखा, तो उन्होंने कहा था, मेनका आ रही है। दोस्तों यह कविता सप्रेम अपने शादी सालगिरह पर प्रियंका को समर्पित। #विप्रणु #प्रियप्रियंका #yqdidi #yqbaba #love #life #poetry