लिखने वाले तो बहुत है यहां,सब ही काबिल हैं पर दिल की सच्चाई और इंसाफ लिखना जरूरी है खुद की बदसूरती बयाँ करना बहादुरी है शायद, ईमानदारी और तजुर्बे हर्फों से दिखना जरूरी है शर्मो हया के पर्दे गिरा कर,बस दिल बयाँ कर देता हूँ सच बोल कर माहौल-ए-जिल्लत में टिकना जरूरी है, जरूरी है शीशा दिखा देना खुद को भी,कभी दूसरो को, जन्नत के ख्वाबों को लफ़्ज़ों में लाना,सीखना जरूरी है यह लिखना इबादत से कम नही,कम से कम मेरे लिए तो, यूँ झूठ फरेब लिख कर हर्फों में बयाँ करना मगरूरी है, अल्लाह पाक सब जानता है, किसे बेवकूफ बनाऊ मैं, उसकी नमाज़-ए-कलमकारी में पाकीज़गी कायम रहे जरूरी है #yqbhaijan #yqdidi #लेखक_की_कलम_से #शायरी_अपनी_कलम_से #जिम्मेदारीयांबड़ीहै