यह मृत्यु का जीवन है, अमृत का सागर है, निशानिमन्त्रण है, आत्म नियंत्रण है विष है, सुधा है तृप्ति है, क्षुधा है आग्रह है, अबीर है सुख है, पीर है कुछ अंत है, कहीं अनंत है वही शिव है, वही संत है। #sawan #सावन #महीना #सोमवार #महादेव #महाकाल #भक्ति #Shiva