जब एकांकी जीवन होता है जब अतिशय मन पीड़ित होता है जब भीड़ सामने होती है पर आदर बहुत चूभन होती है जब अपवादों के झोको में ख़्वाब रूठ से जाते है जब चेहरे पर मुस्कान लिए अंदर ही अंदर टूट से जाते है उलझती हुई मन की गाठे जब आशा खोल न पाती है तब जीवन जीने से ज्यादा आसान मौत हो जाती है मौत कौन चाहता है #mautkaunchahtahain #collab #YourQuoteAndMine Collaborating with Anchal Mishra