रात चाँदनी में नहाई है.... दिल को किसी की याद आई है.... मोहब्बत दिल में लेने लगी अंगड़ाइयाँ.... ये कैसी रुत जीवन में आई है.... तारे टिमटिमा रहे आसमां में.... जैसे खुशियों की बारात आई है.... खूबसूरत है कितना समा.... उनके आने की ख़बर जो आई है.... अब ये है चाहे तिलिस्म या सच्चाई.... हमको तो मदहोशी छाई है.... चाँद भी पूरे शबाब से है चमक रहा.... उसने भी अपनी ख़ुशी जताई है.... #rztask491#rzलेखकसमूह#restzone#rzhindi#yourquotedidi#लेखनसंगी#शीर्षक "ख़ूबसूरत शमा" रात चाँदनी में नहाई है.. चाँद को देख मुस्कुराई है.. चाँद से बरसता हो नूर जैसे.. ज़िन्दगी में मदहोशी छाई है.. रात है की जन्नत का नज़ारा.. किस ने ये तिलिस्म फैलाई है..