उम्मीद ना रही अपनों से, नाउम्मीदी ने घर जो कर लिया है। कोई पूछे ना उदासी का सबब हमसे इसलिए इस बैनूर से चेहरे को झुठी मुस्कान से सजा लिया हैं। -Neha_Pandya #नाउम्मीदी