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कभी नम आंखों से मां को रही पुकार, कभी सतगुरू से हा

कभी नम आंखों से मां को रही पुकार,
कभी सतगुरू से हाथ जोड़ लगाऊं गुहार,
कैसे कहूं ए......यारा तुमसे,
क्यूकर दिन रही मैं गुजार।
😭😭😭😭😭

©kamlesh pratap singh #Thinking  status sad sad shayri
कभी नम आंखों से मां को रही पुकार,
कभी सतगुरू से हाथ जोड़ लगाऊं गुहार,
कैसे कहूं ए......यारा तुमसे,
क्यूकर दिन रही मैं गुजार।
😭😭😭😭😭

©kamlesh pratap singh #Thinking  status sad sad shayri