अपने जज्बात लिखूं, या खेले गए हालात लिखूं दुख दर्द परेशानी भरोसा धोखा और क्या क्या गर तुझपे लिखूं, फिर सारी रात लिखूं। रब से फरियाद लिखूं या टूटन की शुरुआत लिखूं कतरा कतरा धीरे धीरे औ टूट गया हूं गर तुझपे लिखूं,, फिर सारी रात लिखूं। वादे तेरे चार लिखूं या दिए ज़ख्म वो हज़ार लिखूं यादों का जो महल बना वो सूना है जीवन कोरा कागज चाहे दिन रात लिखूं गर तुझपे लिखूं, फिर सारी रात लिखूं। क्या लिखूं...... #deardeepakk #story_telling_by_deardeepakk #deepsha #deesha #yourquote