Nojoto: Largest Storytelling Platform

=:कुण्डलिया:= लिखने वाले लिख रहे, अल्प लिखें या ढ


=:कुण्डलिया:=
लिखने वाले लिख रहे, अल्प लिखें या ढेर । 
मिलती मंज़िल है यहाँ,    चाहे देर अबेर ।। 
चाहे देर अबेर,      भरे है सबकी झोली ।
कौन सवाया सेर,    बंद मुट्ठी जो खोली ।। 
कह"मौलिक"कविराय, हटा दो मन के जाले,
बड़े़ वजन के शे'र, लिख रहे लिखने वाले ।।
🌹🌹
डाॅ. ए के सोनी  *"मौलिक "*
नरसिंहपुर (करेली)

©Dr A K Soni "Maulik"
  #छंद