फुर्सत के कुछ पल जो मांगते थे हमसे कभी अब उनके पास हमसे बात करने के लिये एक पल भी फुर्सत नहीं तुम्हारी खामोशी से मेरे दिल पर क्या गुजरती होगी न तो समझ पाये और न ही समझने की कोशिश ही की कभी जब तुम्हारे दिल में मुहब्बत थी ही नहीं तो मेरे सोऐ अरमानों को क्यों जगाते रहे हर दफा ही ©Shweta Sharma #फुर्सत -के-पस #holdmyhand