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सवेरा *सवेरे सवेरे तूँ भी खामख्वाह,* *बढ रही है, ए

सवेरा *सवेरे सवेरे तूँ भी खामख्वाह,*
*बढ रही है, ए धूप;*
*इस शहर में पिघलने वाले,*
*दिल ही नहीं हैं।* धूप....
सवेरा *सवेरे सवेरे तूँ भी खामख्वाह,*
*बढ रही है, ए धूप;*
*इस शहर में पिघलने वाले,*
*दिल ही नहीं हैं।* धूप....
gannuyadav8623

Gannu Yadav

Bronze Star
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