हर कोई खोया है यहा किसकी याद में मिल जाए मरीज ए इश्क की दवा कई लगे है कतार में किसिका यार बेवफा था, कोई वक्त का मारा है हर कोई रोता है महबूबा के नाम में मैखाने सजे है मोहब्बत के मारो से जाम मे मय नही यार को उतारा है रातों से दोस्ती कर बैठे है कोई किसकी हमराज तन्हाई बन गई है नजाने कितने इश्क के मारे बैठे है। #27quote #lovequotes #poetry #poem #shayari #nightthoughts #poetry #poetrycommunity