हो नारी तुम पुष्प सी कोमल ...हो शीतल जैसे हिमखंड हो चंचल तुम जैसे कोई हिरणी ..स्वछंद तुम्हारे विचार हैं तुममे वेग सरिता का ...ख़ामोशी भी हैं अपार हैं तुममे दृढ़ निश्चय असीमित .. तुम नतमस्तक कर दो आकाश ... हैं तुममे खग का कलरव ...तुम हो प्रेम का भंडार नारी हो तुम माँ हो , बहूँ हो ...सखी , प्रियतमा , भाभी कर देती हो ख़ुद को समर्पित ..देर ना करती ज़रा भी कैसे करू बखान तुम्हारा ...कैसे शब्दों में उकेरू नतमस्तक हूँ समक्ष तुम्हारे ...तुम्हें देवी भी मानू पर रहें स्मरण तुमकों सदैव ये ... '' पुरुष हूँ मैं '' #NojotoQuote #नारी #nojoto