Nojoto: Largest Storytelling Platform

सोचते है, शायद कुछ कमी रह गई होगी मेरे में जितना

सोचते है, 
शायद कुछ कमी रह गई होगी मेरे में 
जितना थे उतना काफी नहीं थे क्या
अरे हम नहीं समझे थे तो समझा देते मुझे तुम 
या जितना समझे थे तुम्हें क्या उतना काफ़ी नहीं था ।।

शिकायत थी तुम्हें तो तुम मुझसे जताते 
मेरी आंखों में एक बार देखने की कोशिश तो करते
मानते हैं कि मेरी कही बात तुम्हें बुरी लगती हैं
गुस्सा शांत होने के बाद  सामने से बात तो करते 
बस एक बार मेरे नज़रिए से मुझे समझने की कोशिश तो करते।।

बुरा मानने की क्या बात थी इसमें
जानते हो कि मेरा कभी इरादा गलत ना रहा 
पर मुझे ऐसे बेगाना करना जरूरी था
गलतियां तो सबसे होती हैं पर
मुझसे ऐसे जताना क्या ज़रूरी था।

©Poonam Kumari
  #realisation #अपनी_कलम_से #मेरी_सिसकियां