तभी तो अखबार मंगाना छोड़ दिया क्योंकि उसकी खबरें जीवन से ,दुनिया से विश्वास हटा देती है! सबके मन में छल है कपट है झूठ है यही सोच-सोच कर दहशत होती है। अखबार पढ़कर डरते रहें उससे तो अच्छा है उसे छोड़कर निर्भय होकर, मस्त होकर जियें!! ©अंजलि जैन #अखबार#१६.१०.२० #worldpostday