Nojoto: Largest Storytelling Platform

मैं तेरी मोहब्बत में, कवियो! तुमने परफेक्शन की हवस

मैं तेरी मोहब्बत में, कवियो! तुमने परफेक्शन की हवस में एक कविता दस बार लिखी और नौ पन्ने फ़ाड़ के फेंके। ये पन्ने भी किसी पेड़ की मौत का हासिल थे।

यह जुमला कितना घटिया सच होगा कि पेड़ पर कविता लिखने वाले कवि ने कभी पेड़ नहीं लगाया, दरअसल उसे पेड़ नहीं पेड़ की कविता से प्यार था कि उसे प्यार से नहीं प्यार की कविता से मतलब था।

घटिया कवियों को चाहिए कि वे कागज के बजाय मोबाइल या लैपटॉप का इस्तेमाल करें अपनी कसरत के लिए। आखिर कितना खराब है यह कारण कि पेड़ शहीद हों घटिया कविताओं के लिए। 

मेट्रो का शेड इससे कहीं महान कारण है तुमने तो बहुत टुच्चे कारणों से पेड़ काटे हैं। तुमने अपनी प्रेमिकाओं को गुलाब के फूल भेंट किये हैं। याद है न!

― रचित दीक्षित || हिंदीजगत
मैं तेरी मोहब्बत में, कवियो! तुमने परफेक्शन की हवस में एक कविता दस बार लिखी और नौ पन्ने फ़ाड़ के फेंके। ये पन्ने भी किसी पेड़ की मौत का हासिल थे।

यह जुमला कितना घटिया सच होगा कि पेड़ पर कविता लिखने वाले कवि ने कभी पेड़ नहीं लगाया, दरअसल उसे पेड़ नहीं पेड़ की कविता से प्यार था कि उसे प्यार से नहीं प्यार की कविता से मतलब था।

घटिया कवियों को चाहिए कि वे कागज के बजाय मोबाइल या लैपटॉप का इस्तेमाल करें अपनी कसरत के लिए। आखिर कितना खराब है यह कारण कि पेड़ शहीद हों घटिया कविताओं के लिए। 

मेट्रो का शेड इससे कहीं महान कारण है तुमने तो बहुत टुच्चे कारणों से पेड़ काटे हैं। तुमने अपनी प्रेमिकाओं को गुलाब के फूल भेंट किये हैं। याद है न!

― रचित दीक्षित || हिंदीजगत