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# बेटे के आतंक से आजिज आकर बूढ़ी म | Hindi Video

बेटे के आतंक से आजिज आकर बूढ़ी मां ने पुलिस महानिदेशक से लगाई गुहार

वाराणसी। एक बूढ़ी मां ने अपर पुलिस महानिदेशक वाराणसी जोन से गुहार लगाते हुए अवगत कराया है कि बड़ागांव थाने में तैनात है और अवैध तरीके से चल-अचल सम्पत्ति अर्जित की है। सुनीता सिंह ने पत्नी स्व.वीर बहादुर निवासिनी बरईपुर थाना सारनाथ वाराणसी ने अपने ही बेटे पर आरोप लगाते हुए लिखा है कि मेरे पति वीर बहादुर सिंह पुलिस विभाग में मुख्य आरक्षी के पद पर जनपद चन्दौली में कार्यरत थे जिनकी 2 अप्रैल 2008 को मृत्यु हो गयी। सुनीता ने अवगत कराया है कि उसके पति की पहली शादी बड़ी बहन से हुयी थी। उसकी मृत्यु के बाद उसकी शादी वीर बहादुर सिंह से हुई। बड़ी बहन का एक मात्र पुत्र विजय प्रताप सिंह उर्फ सोनू उस वक्त काफी छोटा था। शादी के पश्चात प्रार्थिनी ने एक पुत्र कौशलेन्द्र प्रताप सिंह उर्फ गोलू व पुत्री सुमन सिंह को जन्म दिया। पति की मृत्यु के पश्चात बड़ा लड़का विजय प्रताप सिंह उर्फ सोनू को परिवार की सहमति से अपने पति के स्थान पर मृतक आश्रित के रुप में नियुक्ति हेतु अपनी सहमति दी। जो इस समय एस.एस.आई. बड़ागांव के पद पर कार्यरत है और तमाम गैर कानूनी कार्यों के माध्यम से अवैध रूप से  चल-अचल सम्पति पत्नी नीतू सिंह के नाम से वाराणसी में क्रय की है। उसके द्वारा उच्चधिकारियों को धोखे में रखकर विधि विरूद्ध ढंग से नियुक्ति गृहजनपद में करा ली है और मुझे प्रताडित करने के साथ गाली-गलौज करते हुए मुझे अपमानित करता है। जनपद में नियुक्त रहते हुए चल रही जांच को प्रभावित कर रहा है जो न्यायसंगत नही है। सुनीता ने उच्चाधिकारियों से मांग की है कि प्रकरण की गम्भीरता को देखते हुए बड़ागाव थाने में तैनात एस.एस.आई. की जांच किसी आई.पी.एस. अधिकारी से कराई जाए। सुनीता ने आरोप लगाया है कि एस.एस.आई. विजय ने 2001 में हाईस्कूल पास किया तथा 2003 में इण्टरमीडिएट की परीक्षा में फेल हो गया। उसके बाद 2003-2004 में फर्जी मार्कशीट बलिया से बनवाया है। मार्कशीट पर अंकित रोल नम्बर की पुष्टि करने पर ज्ञात हुआ कि यह किसी आशुतोष कुमार के नाम पर है। फर्जी मार्कशीट के आधार पर स्नातक में डॉ.घनश्याम सिंह डिग्री कॉलेज वाराणसी में दाखिला लिया और प्रथम वर्ष में फेल होने हो गया।

बेटे के आतंक से आजिज आकर बूढ़ी मां ने पुलिस महानिदेशक से लगाई गुहार वाराणसी। एक बूढ़ी मां ने अपर पुलिस महानिदेशक वाराणसी जोन से गुहार लगाते हुए अवगत कराया है कि बड़ागांव थाने में तैनात है और अवैध तरीके से चल-अचल सम्पत्ति अर्जित की है। सुनीता सिंह ने पत्नी स्व.वीर बहादुर निवासिनी बरईपुर थाना सारनाथ वाराणसी ने अपने ही बेटे पर आरोप लगाते हुए लिखा है कि मेरे पति वीर बहादुर सिंह पुलिस विभाग में मुख्य आरक्षी के पद पर जनपद चन्दौली में कार्यरत थे जिनकी 2 अप्रैल 2008 को मृत्यु हो गयी। सुनीता ने अवगत कराया है कि उसके पति की पहली शादी बड़ी बहन से हुयी थी। उसकी मृत्यु के बाद उसकी शादी वीर बहादुर सिंह से हुई। बड़ी बहन का एक मात्र पुत्र विजय प्रताप सिंह उर्फ सोनू उस वक्त काफी छोटा था। शादी के पश्चात प्रार्थिनी ने एक पुत्र कौशलेन्द्र प्रताप सिंह उर्फ गोलू व पुत्री सुमन सिंह को जन्म दिया। पति की मृत्यु के पश्चात बड़ा लड़का विजय प्रताप सिंह उर्फ सोनू को परिवार की सहमति से अपने पति के स्थान पर मृतक आश्रित के रुप में नियुक्ति हेतु अपनी सहमति दी। जो इस समय एस.एस.आई. बड़ागांव के पद पर कार्यरत है और तमाम गैर कानूनी कार्यों के माध्यम से अवैध रूप से चल-अचल सम्पति पत्नी नीतू सिंह के नाम से वाराणसी में क्रय की है। उसके द्वारा उच्चधिकारियों को धोखे में रखकर विधि विरूद्ध ढंग से नियुक्ति गृहजनपद में करा ली है और मुझे प्रताडित करने के साथ गाली-गलौज करते हुए मुझे अपमानित करता है। जनपद में नियुक्त रहते हुए चल रही जांच को प्रभावित कर रहा है जो न्यायसंगत नही है। सुनीता ने उच्चाधिकारियों से मांग की है कि प्रकरण की गम्भीरता को देखते हुए बड़ागाव थाने में तैनात एस.एस.आई. की जांच किसी आई.पी.एस. अधिकारी से कराई जाए। सुनीता ने आरोप लगाया है कि एस.एस.आई. विजय ने 2001 में हाईस्कूल पास किया तथा 2003 में इण्टरमीडिएट की परीक्षा में फेल हो गया। उसके बाद 2003-2004 में फर्जी मार्कशीट बलिया से बनवाया है। मार्कशीट पर अंकित रोल नम्बर की पुष्टि करने पर ज्ञात हुआ कि यह किसी आशुतोष कुमार के नाम पर है। फर्जी मार्कशीट के आधार पर स्नातक में डॉ.घनश्याम सिंह डिग्री कॉलेज वाराणसी में दाखिला लिया और प्रथम वर्ष में फेल होने हो गया। #समाज

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