वो मेरे होठों पर उंगलियां रख कर चुप करा देती थी। वफ़ा निभाने वाली जात की लगती थी। सीने से लग कर, वो प्यार बार बार करती थी। पर शायद पीछे से किसी और को देखा करती थी। जिस दिन हम थोड़े कमजोर क्या पड़े, वफ़ा धूल गई सारी। अब तो हमसे सरेआम बेवफ़ा है और वफ़ा किसी पैसे वाले से रखती है। ©0 #Dance #Nojoto #Hindi #Satya #vafa #Bevafa