चलते रहो तब तक जब तक मंजिल ना मिल जाए . अगर अपनी मंजिल ना हो तो भी सही दूसरों को उन्हें उनकी मंजिल तक छोड़ा आए ... पता नहीं उसी रास्ते में आपको भी अपनी मंजिल मिल जाए.. अगर आपको आपकी मंजिल ना मिली तो कम से कम दुआ तो मिलेगी उनको उनकी मंजिल तक पहुंचाने की.. सुप्रभात। चलते रहो, चलना जीवन की नियति है। #चलतेरहो #yqdidi #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi