वक़्त बे वक़्त तुझे याद करते हैं पार ये नाव कर दिया तुमने जुल्फ़ से छाँव कर दिया तुमने लोग लोगों से बात करते हैं शह्र में गाँव कर दिया तुमनें नीलेन्द्र शुक्ल " नील " #Poetrywithneel #Nojoto #Poetrywithneel झूठा शायर (दीप राही) kiran bisht