Unsplash बचपन उड़ गया,जवानी की तलाश में, जवानी उड़ चली,कहानी की तलाश में । लबालब भरा सागर,बस उफनता रहा, नदी बह चली,अपनी रवानी की तलाश में । रोके न रुक सका पतंगा,सब देखते रहे, दीवाना निकल पड़ा,दीवानी की तलाश में । लहद की मिट्टी भी लाना,मुश्किल हो गया, तालिब-ए-इश्क़ चला,निशानी की तलाश में । ©ANIL KUMAR,) #lovelife #Love #Shayari #anilkumar #anil_quotes #मेरीलेखनी✍️(अनिल कुमार)