हम सोच रहे थे अपराध घट गए हैं पर यह किसने सोचा था मानव दानव बन गए हैं, इतनी बीत रही है सब पर फिर भी नहीं सुधरेंगे ये लोग... कोरोना ने जहां तोड़ दी हर वर्ग की कमर, फिर भी बेशर्म लोगों ने कर दिया बेकसूर पर जुल्म, आत्मा भी नहीं कांपी क्या इस हैवानियत को करते हुए, पर एक वो प्राणी है जिसे जंगली जानवर हम समझते थे, जब पता चला कुछ बारूदी खिला दिया गया है तो, किसी को भी नुकसान नहीं पहुंचाया नदी में जाकर 3 दिन तक खड़ी रही, ना किसी को अपने पास आने दिया और इंतजार करती रही अपनी मौत का, पर ये बेदर्द जमाना नहीं पिघला मरते-मरते समझा गयी की इंसान भरोसे लायक नहीं है, शर्म आ रही है खुद को इंसान कहते हुए जब इंसानियत का खून किया हम में से कुछ इंसानों ने, क्या दोष था उसका जो उसके पेट में था, और क्या कसूर था उसका जिसे दिया गया बारूदी अनानास, अरे! इतने ही फ्री थे तो लूडो ही खेल लेते क्या मिला उस बेजुबान की जिंदगी से खेल कर, इस घटना से ना सिर्फ हुई मानवता शर्मसार,एक माँ का भी हुआ है अपमान, वक्रतुंड के रूप का तुमने आज जी भर के किया उपहास, आज प्रकृति हर तरह से सबक सिखा रही है, कोरोना,चक्रवात तूफान,बेमौसम बरसात,टिड्डीदल के हमले फिर भी देखों विडंबना अभी भी नहीं सुधरा इंसान, कुछ मानवों कि इस घटिया हरकत पर देखना अब सबका होगा जीना दुश्वार, कापेगी धरती भी शिव का ऐसा तांडव होगा क्योंकि कर आए हो तुम प्रलय की शुरुआत, बहुत उड़ा लिया मजाक कभी तो यह धरती मां भी बदला लेगी जिसने हम सब प्राणियों को धारण किया है, सभी को है समान रूप से हैं जीने का अधिकार दिया है, फिर भी क्यो करते हो किया ऐसे निंदनीय अपराध। #RIPHUMANITY #Nojoto हम सोच रहे थे अपराध घट गए हैं पर यह किसने सोचा था मानव दानव बन गए हैं, इतनी बीत रही है सब पर फिर भी नहीं सुधरेंगे ये लोग... कोरोना ने जहां तोड़ दी हर वर्ग की कमर, फिर भी बेशर्म लोगों ने कर दिया बेकसूर पर जुल्म, आत्मा भी नहीं कांपी क्या इस हैवानियत को करते हुए, पर एक वो प्राणी है जिसे जंगली जानवर हम समझते थे, जब पता चला कुछ बारूदी खिला दिया गया है तो,