तेरे चेहरे की मासूमियत हमपे कहर ढा रही है, तेरी भोली सी सूरत मेरी नजर में समा रही है। तेरी काली जुल्फों के नाग हमको डस रहे हैं, हम तेरी उलझी उलझी जुल्फों में फंस रहे हैं। तेरी तीखी सी हँसी हम पर सितम ढा रही है, तेरी कजरारी आंँखें हमको पास बुला रही हैं। तेरी एक नजर के इशारे से हम तेरे हो जाएंगे, तुझे देखकर मेरी सांँसे थमती सी जा रही है। हाथों में हाथ देकर तुम बाहों में हमको भर लो, दिल की धड़कनें भी तेरे नाम से बढ़ती जा रही हैं। ♥️ Challenge-541 #collabwithकोराकाग़ज़ ♥️ इस पोस्ट को हाईलाइट करना न भूलें :) ♥️ विषय को अपने शब्दों से सजाइए। ♥️ रचना लिखने के बाद इस पोस्ट पर Done काॅमेंट करें।