मैं वो खेल खेल रहा हुं जो मैं कभी जीत नहीं सकता ... मेरे वह खेल खेलने की वजह बस इतनी हैं की मुझे वह खेल मे सुकून मिलता हैं... "मुझे मंजिल ना मिले फिर भी सफर की खुशी बेशुमार हैं!" #अतिश शेजवळ जिंदगी का खेल