रोज़ किसी के लिए आँखें नम होती है रोज़ किसी की दुनिया छोटी होती है हम भी अपनी दुनिया में कुछ देर सोचते है दिल उदास होता है ... रूह सहम जाती है निशब्द , असहाये महसूस करते है कुछ देर के लिए रुक जाते है पर क्या ज़िंदगी रुकती है .. नही ..वो सिर्फ़ चलना जानती है पहली जैसी ख़ुशी अब नही होती अपनो के अपने बिछड़ता देख ख़ुशी भी हमेशा के लिए अधूरी ही है बस आँख बंद कर हाथ जोड़कर दुआ ..प्रार्थना करते है समय चक्र को तेज़ी से घुमा दे उपरवाले थोड़ा रहम कर .. कृपा बरसा दे !! #prayer #covidtimes #gocorona #covid19 #god