वो तो महका करती है, हर बार वही आवाज़ सुनने को जी भर आता है, कुछ आवाज़ें कभी धीमी नहीं होती, वो तो बस गूंजा ही करती है, दिल में जगह बनाए रखती है। एक युग का अंत तो हुआ है, पर वो सुरीली आवाज़ अनंत तक गूंजेगी। "इस जन्म में ना सही, शायद एक नए युग में फिर से , स्वर कोकिला "लता जी" से फ़िर मुलाकात होगी" — % & स्वर साम्राज्ञी लता मंगेशकर जी आज परमात्मा में लीन हो गई हैं। वे 92 वर्ष की थीं। उनका जन्म 28 सितंबर 1929 को इंदौर में हुआ। संगीत उन्हें विरासत में मिला था। उनके गाए गीतों की महक हर संगीत प्रेमी के हृदय में बस चुकी है। यूँ कहिये कि उनकी आवाज़ हमारे दिल की धड़कन बन चुकी है। समस्त योरकोट की ओर से हम भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं। #लतामंगेशकर #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi